बहुत ज़बरदस्त अंदाज़ है बातों का ... बढ़िया प्रस्तुति
बातों बातों में काफी कुछ कह दिया आपने ... हम सब के दिल की बातों को अपने अलफ़ाज़ दे दिया आपने !
ee kaa kah diye, kaa likh diye... baatein bahut badhiya hain... n luckily inme se kuchh lines ham fb pe padh hi chuke hain...
बस हिआं एक्कै चीज की कमी है...उ है की कमेंटवा जरा थम के है
बहुतई गजब समाचार दिया है भैया.
ज़िंदगी अब यूं न इतराया कर , अब पहले सी मुहब्बत नहीं रही तुझसे ,ले बता भी दिया है सीना ठोककर , बाद शिकायत करती नहीं कही तुझसे---"अंदाज़ पसंद आया ......
क्या गजब की शायरी है झा साहब वाह
कबिरा इस संसार में.......
वाह क्या बात है ... मज़ा आ गया इस शायरी का भी झा साहब ..
पीएम जी फ़रमाते हैं ,गिलानी शांति के दूत हैं , इत्ता और बता देते , कि कसाब और अफ़ज़ल , किस दूत के पूत हैं ...धांसू लिखा है……………मार करते रहिये।
behtreen prstuti....
ये एक अलग अंदाज रहा या एक अलग आगाज रहा!!
सही कह रहे हैं झा जी। न गौरेये हैं,न तारों के झुंड। इंद्रधनुष देखे तो मानो ज़माना बीत गया।
दिल को छू गयी ये पोस्ट...
जब तक सरकार प्रजनन की व्य्वस्था करती रहेगी प्रजाजनन को कोई चिंता करने की आवश्यक्ता नहीं है :)
straightforward expression without beating about the bush. Great!
बेहतरीन लेख
टोकरी में जो भी होता है...उसे उडेलता रहता हूँ..मगर उसे यहाँ उडेलने के बाद उम्मीद रहती है कि....आपकी अनमोल टिप्पणियों से उसे भर ही लूँगा...मेरी उम्मीद ठीक है न.....
बहुत ज़बरदस्त अंदाज़ है बातों का ... बढ़िया प्रस्तुति
जवाब देंहटाएंबातों बातों में काफी कुछ कह दिया आपने ... हम सब के दिल की बातों को अपने अलफ़ाज़ दे दिया आपने !
जवाब देंहटाएंee kaa kah diye, kaa likh diye... baatein bahut badhiya hain... n luckily inme se kuchh lines ham fb pe padh hi chuke hain...
जवाब देंहटाएंबस हिआं एक्कै चीज की कमी है...उ है की कमेंटवा जरा थम के है
जवाब देंहटाएंबहुतई गजब समाचार दिया है भैया.
जवाब देंहटाएंज़िंदगी अब यूं न इतराया कर , अब पहले सी मुहब्बत नहीं रही तुझसे ,
जवाब देंहटाएंले बता भी दिया है सीना ठोककर , बाद शिकायत करती नहीं कही तुझसे---"
अंदाज़ पसंद आया ......
क्या गजब की शायरी है झा साहब
जवाब देंहटाएंवाह
कबिरा इस संसार में.......
जवाब देंहटाएंवाह क्या बात है ... मज़ा आ गया इस शायरी का भी झा साहब ..
जवाब देंहटाएंपीएम जी फ़रमाते हैं ,गिलानी शांति के दूत हैं ,
जवाब देंहटाएंइत्ता और बता देते , कि कसाब और अफ़ज़ल , किस दूत के पूत हैं ...
धांसू लिखा है……………मार करते रहिये।
behtreen prstuti....
जवाब देंहटाएंये एक अलग अंदाज रहा या एक अलग आगाज रहा!!
जवाब देंहटाएंसही कह रहे हैं झा जी। न गौरेये हैं,न तारों के झुंड। इंद्रधनुष देखे तो मानो ज़माना बीत गया।
जवाब देंहटाएंदिल को छू गयी ये पोस्ट...
जवाब देंहटाएंजब तक सरकार प्रजनन की व्य्वस्था करती रहेगी प्रजाजनन को कोई चिंता करने की आवश्यक्ता नहीं है :)
जवाब देंहटाएंजब तक सरकार प्रजनन की व्य्वस्था करती रहेगी प्रजाजनन को कोई चिंता करने की आवश्यक्ता नहीं है :)
जवाब देंहटाएंstraightforward expression without beating about the bush. Great!
जवाब देंहटाएंबेहतरीन लेख
जवाब देंहटाएं