प्रचार खिडकी

बुधवार, 17 मार्च 2010

व्रत आसान है रखना क्या ( एक लघु कथा ..या पता नहीं क्या )



"सुनो जी कल से नवरात्रि शुरू हो रही है , मुझे बहुत सी तैयारियां करनी हैं । आप तो जानते हैं कि मैं पिछले कई सालों से श्रद्धापूर्वक सारे व्रत रखती हूं। ये लो लिस्ट और बाजार से व्रत के लिए सारा सामान ले आओ

पांच किलो फ़ल ...अभी फ़िलहाल इतना ही बांकी बाद में आते रहेंगे .. 
दस किलो आलू...ओह व्रत में आलू न हों तो ....कैसे चल सकता था काम  
दो किलो देसी घी ...सुनो घी चैक करके लाना ..बढिया हो एकदम खालिस  
आलू चिप्स के पैकेट...चिप्स के पैकेटों का भी बहुत सहारा हो जाता है
           जूस के दो बडे डब्बे ...ब्रत में कमजोरी महसूस न हो इसके लिए तो जूस जरूरी है

देखो न और भी कुछ याद था ..खैर छोडो ..इसके साथ थोडी सी पूजा सामग्री भी ले आना । और हां कल से आपको ज्यादा हाथ बंटाना होगा ....जाओ जल्दी निकलो ...ओह ब्रत इतने आसान नहीं होते रखने ...."श्रीमती जी ने अपने श्रीमान जी से कहा ।

श्रीमान जी सोच रहे थे ": हां सच कहा है व्रत इतने आसान नहीं होते ...इतनी महंगाई में ...तो खाते पीते ही ठीक है ॥




12 टिप्‍पणियां:

  1. दूध, काजू किसमिस और मखाने?? खीर काहे से बनेगी झा जी??

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  2. उडन जी की सामग्री को भी सूची में शामिल कर लिया गया है ...श्रीमती जी ने अपने श्रीमान जी को मोबाईल पर अपडेट करा दिया है और ..उडन जी को स्पेशल धन्यवाद भिजवाया है ....
    अजय कुमार झा

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  3. sach kaha vrat rakhna itna aasan nhi hai .....sameera ji ka kahna bhi sahi ......abhi to bahut kuch baki hai.

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  4. भई इसीलिये हम व्रत एफोर्ड नहीं कर सकते ..अपन तो खाते पीते ही भले ।

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  5. अपन तो इससे दूर ही हैं फ़िलहाल्।कल पहले दिन ही खाना तो दूर पीने के नाम मात्र पर व्रत रखने का प्रपोज़ल था जिस पर सिर्फ़ तीन ही साथी कायम रह पाये बाकी सब विकेट रात होते-होते डाऊन हो गये।वैसे बचपन मे व्रत यही सब देख-देख कर करा करते थे।

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  6. यह लघुकथा का फार्मेट नहीं है हाँ एक व्‍यंग्‍य की श्रेणी में आ सकता है।

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  7. व्रत करने से तो अच्‍छा खाना पीना !!

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  8. डा . साहिबा शुक्रिया ..मैं भी यही सोच रहा था ..क्योंकि जानता था कि ये लघु कथा नहीं है ...इसलिए जो लगा लिख दिया ..शुक्रिया आपका और बाकी सबका भी
    अजय कुमार झा

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टोकरी में जो भी होता है...उसे उडेलता रहता हूँ..मगर उसे यहाँ उडेलने के बाद उम्मीद रहती है कि....आपकी अनमोल टिप्पणियों से उसे भर ही लूँगा...मेरी उम्मीद ठीक है न.....

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